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खबर दपुमरे SECR से;

मित्रों, दपुमरे की खबर याने कहीं ब्लॉक की योजना तो नही? यह डर यात्रिओंके मन मे सबसे पहले आता है। और क्यों न हो, झारसुगुड़ा से नागपुर तक पूरे दपुमरे रेल नेटवर्क पर रेल तिहरीकरण या रेल विकास का कार्य ज़ोरोंपर है।

मगर यह खबर फिलहाल तो रेल ब्लॉक की नही है। अपितु रेल दोहरीकरण और नई रेल लाइन के लिए किये जानेवाले सर्वे की है।

कार्य का नाम: हाइब्रिड आधुनिक सर्वेक्षण के साथ अंतिम स्थान सर्वेक्षण आयोजित करना
DGPS एकीकृत RTK/PPK UAS DRONE (NPNT से अनुपालन) का उपयोग करने वाली प्रौद्योगिकी
डीजीसीए आधारित फोटोग्रामेट्री और लिडार सिस्टम द्वारा मिट्टी की जांच और संचालन
विभिन्न विस्तृत रेखाचित्रों की तैयारी और प्रस्तुति और की तैयारी
गोंदिया – चाँदा फोर्ट – बल्हारशाह के बीच दोहरीकरण लाइन का अनुमान और डीपीआर
(250.0 किमी) दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे, नागपुर मंडल।

कार्य का नाम: “हाइब्रिड आधुनिक सर्वेक्षण के साथ अंतिम स्थान सर्वेक्षण आयोजित करना
DGPS एकीकृत RTK/PPK UAS DRONE (NPNT से अनुपालन) का उपयोग करने वाली प्रौद्योगिकी
डीजीसीए आधारित फोटोग्रामेट्री और लिडार सिस्टम द्वारा मिट्टी की जांच और संचालन
विभिन्न विस्तृत रेखाचित्रों की तैयारी और प्रस्तुति और की तैयारी
वडसा – गढ़चिरौली नई रेल लाइन (52.0 किमी) के बीच दोहरीकरण लाइन का अनुमान और डीपीआर
दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे, नागपुर मंडल।

उपरोक्त निविदाएं पढ़ेंगे तो ध्यान आएगा, गोंदिया से बल्हारशाह के बीच रेल दोहरीकरण और वड़सा से गढ़चिरौली के बीच नई रेल दोहरीकरण कार्य का सर्वे किया जाना है। एक तरफ रेल प्रेमियोंमे यह चर्चा भी है, की सम्बन्धित रेल की ब्रांच लाइनोंको अब केवल मालवहन के लिए उपयोग में लाया जाएगा। खास कर गोंदिया – जबलपुर रेल मार्ग। इस मार्ग को शुरू होकर खासा वक्त बीत गया है और यह जबलपुर सम्पर्क मार्ग न सिर्फ कम दूरी का बल्कि नागपुर और इटारसी जैसे प्रमुख और व्यस्ततम रेल स्टेशनोंको बाईपास भी करता है। फिर भी इस मार्गपर कुछएक मेमू गाड़ियाँ और एक्सप्रेस चलाई जा रही है। शायद रेल प्रशासन की मालवहन नीति के तहत इस मार्ग पर ना ही कोई नियमित गाड़ियाँ जो जबलपुर – इटारसी – नागपुर – बल्हारशाह होकर चलती है, परावर्तित की जा रही है और न ही कोई नई लम्बी दूरी की सेवा की घोषणा हो रही है।

ऐसे में उपरोक्त सर्वे की सूचना देखकर रेलप्रेमियोंका चौंकना सहज प्रतिक्रिया हो सकती है। अब आगे प्रश्न यह है, क्या गोंदिया – चाँदा फोर्ट – बल्हारशाह के बीच विद्यमान एकल लाइन को ही दोहरीकरण में बदला जाएगा या यह एक नई DFC डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर की नींव रखी जा रही है?

खैर! यह सारे तकनीकी प्रश्न रेल क्षेत्र में अन्दरतक जानकारी रखनेवाले रेल प्रेमी पता कर ही लेंगे। हम केवल आप तक जानकारी के अद्यायावत हिस्सोंको लाते रहेंगे।

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