16 मार्च 2023, गुरुवार, चैत्र, कृष्ण पक्ष, नवमी, विक्रम संवत 2079
रेल प्रशासन द्वारा रेल गाड़ियोंका आरक्षण चार्टिंग दो बार किया जाता है। पहला चार्टिंग गाड़ी के प्रस्थान समय से चार घंटे पहले और दूसरा अन्तिम चार्टिंग गाड़ी के प्रस्थान समय से तीस मिनट पहले।
तकरीबन 8 वर्ष पहले रेल प्रशासन ने पहले चार्टिंग होने के बाद जो भी सीट्स या बर्थस अन बुक्ड अर्थात बिना बुकिंग के खाली रह जाती थी, यदि कोई यात्री उन्हें बुक करता है तो उनपर रेल्वेके मूल किराये का 10% छूट देने का नियम बनाया था। गाड़ी के मूल किराये के अलावा लगने वाले इतर शुल्क जैसे आरक्षण शुल्क, सुपरफास्ट चार्जेस इत्यादि यथावत लगाए जाते थे।
रेल प्रशासन द्वारा इस रियायत को खत्म करने का निर्णय लिया है। इस सम्बंध के परिपत्रक हम यहॉं दे रहे है।

उपरोक्त पत्र में केवल सम्बंधित CC के क्रमांक सन्दर्भ हेतु दिए गए है, अतः वह भी परिपत्र यहां जोड़ रहे है।



मित्रों, रेल प्रशासन की यह अच्छी योजना थी, जिसमे केवल बची आरक्षित सीटें, बर्थस बुकिंग करवाने के लिए यात्रिओंको आकृष्ट किया जाता था। खैर, रेल विभाग के सारे दृष्टिकोण ही बदल गए है। उन्हें लगता है, यात्रिओंको आकृष्ट करने के बजाय परावृत्त करने की जरूरत है। तब ही तो वह वरिष्ठ नागरिक, सवारी गाड़ियाँ जैसी सारी किराया रियायतें बन्द कर दिए है। लगभग सभी मेल/एक्सप्रेस श्रेणी की गाड़ियाँ 80 से 90% वातानुकूलित जैसे उच्च किराया श्रेणी में बदली जा रही है।
शायद इसे ही “पैसेंजर अपग्रेडेशन” अर्थात यात्रिओंकी रेल यात्रा को उन्नत करना है।
